वर्तमान के पुण्य से ही मिलता है भविष्य में सुख-मुनिश्री

बूंदी-नैनवां रोड रजतगृह कॉलोनी स्थित श्रीशीतलनाथ दिगंबर जैन में सोमवार को सुबह 9 बजे मंगल प्रवचन मे मुनि श्री  विश्रांतसागर जी  महाराज ने कहा कि वर्तमान में पुण्य से ही भविष्य में सुख शांति आती है। भव के पुण्य के ही वर्तमान में सुख शांति मिली है। मुनिश्री ने कहा कि मनुष्य को क्रोध नहीं करना चाहिए। क्रोध ही दुख का कारण है। जहां क्रोध होता है वहां पर दुख ही रहता है। जीवन में हमेशा मन, वचन से शांत रहो। जीवन को हमेशा परोपकार में लगा। मुनि श्री  विश्रांत सागर जी  महाराज ने कहा कि जीवन में पुण्य के फल से ही मनुष्य काे सुख-दुख मिलता है। पुण्य करने से ही मनुष्य को लाभ, हानि होती है। मनुष्य का जितना पुण्य होगा, उसे उतना ही लाभ मिलेगा।
     संकलन अभिषेक जैन लुहाड़ीया रामगंजमंडी

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