राजनीतिक हलचल-कहते हैं बुरे वक़्त मे अपनों की याद कुछ ज्यादा ही आती है,ऐसा ही कुछ पूर्व सांसद और कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव ज्योतिरादित्य सिंधिया के साथ हो रहा है । अपनी पराम्परागत सीट हारने के बाद खाली बैठे सिंधिया को अपनों की याद कुछ ज्यादा ही आ रही है या यूँ कहें कि वे आजकल अपनी नई ज़मीन तैयार करने में जुटे हैं । सिंधिया हारने के बाद भले ही गुना - शिवपुरी की ओर नहीं गये हों लेकिन ग्वालियर अंचल मे लगातार दौरे कर रहे हैं इतना ही नहीं वे अपने समर्थकों के साथ दिग्गी और कमलनाथ गुट के नेताओं से मुलाकात करना नहीं भूल रहे हैं, बाकायदा वे उन्हें तवज्जों भी दे रहे हैं ।
आगामी 13 अक्टूबर को सिंधिया का श्योपुर जाना तय हुआ है ,सिंधिया सड़क मार्ग से होते हुए श्योपुर पहुँचेंगे लेकिन इस बीच मार्ग मे पड़ने वाले बैराड़ और पोहरी में भी उनके कार्यक्रम हैं । पोहरी वैसे तो ग्वालियर लोकसभा के अंतर्गत आता है लेकिन नए परिसीमन से पूर्व पोहरी सिंधिया के लोकसभा क्षेत्र शिवपुरी का ही हिस्सा था,अमूनन सिंधिया का आना जाना लगा ही रहता था । खबर है कि न केवल सिंधिया पोहरी में कार्यकर्ताओं से सौजन्य मुलाकात करेंगे बल्कि एक लंबा समय अपनों के बीच बिताएँगे । सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार सांसद रहते सिंधिया ने इतना लंबा समय सिंधिया ने कभी पोहरी में नहीं बिताया था जितना कि अब बिताने जा रहे हैं, राजनीतिक गलियारों में चर्चा है कि सिंधिया कहीं अपनी नई ज़मीन तो तैयार नहीं कर रहे हैं क्योंकि अब तक के कार्यक्रमों पर नज़र डाली जाए तो स्पष्ट होता है कि सिंधिया की नज़र अब गुना नहीं ग्वालियर पर है । पोहरी लोकसभा क्षेत्र ग्वालियर का ही हिस्सा है और पोहरी की जनता ने सिंधिया को भरपूर प्यार दिया था,शायद बुरे वक़्त में सिंधिया को फिर अपनों की याद आई है या फिर खाली बैठे हैं इसलिए अपना समय बिता रहे हैं ।
