सागवाड़ा-आचार्य सुनीलसागर महाराज की धर्म सभा हुई उन्होने कहा जो भक्ति भाव में डूबता है वह भवसागर को पार कर लेता है: आचार्य सुनीलसागर जी महाराज ने धर्म सभा को संबोधित करते हुए कहा कि जीवन में संकल्प का पालन दृढ़ता से किया जाए तो कल्याण का मार्ग स्वत: प्रशस्त होता है।
संस्कृति और पूर्वजों द्वारा रची गई कथाओं से ज्ञान का बोध होता है :
आचार्य ने कहा कि पुरातन संस्कृति और पूर्वजों द्वारा रची गई कथाओं से ज्ञान का बोध होता है। अपने प्रवचनों के दौरान आचार्य ने देश के पश्चिम बंगाल में श्रीराम के जयघोष पर पिटाई होने की घटनाओं पर खेद जताया और कहा कि पूरे विश्व में भारत देश ने ही धर्म की ध्वजा को ऊंचाइयों पर पहुंचा कर भक्ति का ज्ञान दिया है। उन्होंने कहा कि ईश्वर का नाम लेने और उनके जयघोष पर आपत्ति नहीं होनी चाहिए। दिन भर मेहनत-मजदूरी करने वाला भी कुछ पल भगवान के नाम का जप कर ले तो उसका भी कल्याण हो जाता है। उन्होंने कहा कि ईश्वर की भक्ति और भक्तों का सम्मान करें, यही हमारी आदिकाल से स्थापित परंपरा है।
संकलन अभिषेक जैन लुहाड़ीया रामगंजमंडी

