4 महीने तपस्या का मतलब है चारों धाम की यात्रा: आचार्य विद्यासागर जी महाराज


बुधनी से होशंगाबाद की तरह किया विहार

बुधनी-चार महीने तपस्या करने का मतलब है चारों धाम की यात्रा करना। उसके बाद निज आत्मध्यान में रम जाना। चार महीने साधु-श्रावक दोनों तपस्या कर पापों को नष्ट करते हैं। यह बात आचार्य विद्यासागर जी  महाराज ने अरविंदो स्कूल में धर्मसभा को संबोधित करते हुए कही। वे होलीपुरा से विहार कर बुदनी पहुंचे थे। इस दौरान जैन समाज के अलावा अन्य समाज के लोग भी उनकी अगवानी करने पहुंच गए।
गुुरुवर की उतारी आरती लिया आर्शीवाद 
: ब्रम्हचारी सुनील भैया अनंतपुरा ने बताया कि मंगलवार शाम पौने 6 बजे आचार्यश्री विद्या सागर जी  महाराज ससंघ बुदनी पहुंचे और रात्रि विश्राम किया।इस दौरान स्कूल के शिक्षक-शिक्षिकाओं ने उनकी आरती उतार आर्शीर्वाद लिया।शिक्षक-शिक्षिकाओं ने गुरुवर से छात्र-छात्राओंं का भविष्य किस प्रकार उज्जवल बनाया जाए उसका उपदेश लिया। गुरुवर ने कहा कि मातृभाषा, मातृभूमि जिसको दोनों से प्यार होता है,उसका भविष्य अपने आप उज्जवल हो जाता है। सुनील भैया अनंतपुरा ने बताया कि बुधवार को बुदनी से मुनिसंघ का होशंगाबाद की तरफ विहार होगा।
    संकलन अभिषेक जैन लुहाडीया रामगंजमंडी

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